
सुकमा: किशोर न्याय बोर्ड अधिनियम 2015 के प्रवाधानों के अनुसार जिले में कोविड-19 के संक्रमण के कारण अनाथ बच्चों के संरक्षण के लिए भारत सरकार के निर्देशानुसार प्रभावी कार्यवाही की जाएगी। अनाथ बालक के देखरेख के लिए जिला सुकमा में किशोर न्याय अधिनियम 2015 की धार 41 के अधीन पंजीकृत बाल गृह (बालक) बस्तर सेवक मंण्डल छिन्दगढ़ द्वारा संचालित संस्था को चिन्हांकित किया गया है। वहीं अनाथ बालिकाओं के संरक्षण एवं पुर्नवास के लिए संस्था सखी वन स्टाॅप सेन्टर को उचित सुविधा तंत्र के लिए चिन्हांकित किया गया है।
इन संस्थाओं में ऐसे बालक/बालिकाओं जिनके माता पिता कोविड-19 के संक्रमण से प्रभावित या बालकों के देखरेख में असमर्थ हैं, को अंतरिम अवधि के लिए बाल देखरेख संस्था में आश्रय देकर उनका संरक्षण किया जाएगा। इन बच्चों को बालक कल्याण समिति के समक्ष प्रतुस्त करते हुए बालक कल्याण समिति के निर्देशानुसार अल्पअवधि या समिति के निर्णय अनुसार आश्रय की कार्यवाही की जाएगी। ऐसे बच्चों की सूचना चाईल्ड लाईन नम्बर 1098 पर दे सकतें हैं। इसके अलावा बाल कल्याण समिति के सदस्य रेणुका सुना मोबाईल नम्बर 9424290942, जिला बाल संरक्षण अधिकारी जितेन्द्र सिंह मोबाईल नम्बर 7646972402, विधिक सह परिवीक्षा अधिकारी चन्द्रकिशोर बघेल मोबाईल नम्बर 7646972473, संरक्षण अधिकारी रविन्द्र घृतलहरे मोबाईल नम्बर 7646972433 और मनीषा शर्मा मोबाईल नम्बर 7646972437 पर भी सूचना दे सकते हैं।
इस संबंध में जिले के सभी ग्राम पंचायत के सरपंच-संचिवों, आंगनबाड़ी कार्यकर्ता एवं मितानिन तथा सभी कोविड केयर सेन्टर एवं अस्पतालों को अवगत कराया गया है।


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