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जान हथेली पर रखकर आवाजाही करने को मजबूर जोनाई के नाहर जेलमवासी

जोनाईः असम राज्य के धेमाजी जिला के जोनाई महकमा अधीन नाहर जेलम गांव के लोग आज भी अपने मुलभुत सुविधा से वंचित है। इस गांव के लोगों को स्वाधीनता के सात दशक बाद भी शुद्ध पेयजल, यातायात सहित कई तरह की मुलभूत सुविधाएं भी नही मिल पाई हैं। आज जहां हर गांव व शहर को […]

जोनाईः असम राज्य के धेमाजी जिला के जोनाई महकमा अधीन नाहर जेलम गांव के लोग आज भी अपने मुलभुत सुविधा से वंचित है। इस गांव के लोगों को स्वाधीनता के सात दशक बाद भी शुद्ध पेयजल, यातायात सहित कई तरह की मुलभूत सुविधाएं भी नही मिल पाई हैं। आज जहां हर गांव व शहर को जोड़ने के लिये पक्की सड़कें और पक्के पुल बन गये हैं। वहीं इस गांव के लोगो को जोनाई महकमा सदर आने के लिये अपनी जान की बाजी लगाना पड़ती है। क्योंकि इस गांव से जोनाई आने के लिये लोगों को पक्के पुल के बजाय जर्जर बांस के झूलते हुए पुल से आवाजाही करना पड़ती है। 

वहीं बंद बोतल पानी पीने के जमाने में इस गांव के लोग आज भी समीपवर्ती नदी का गंदा पानी पीने को मजबूर हैं। स्थानीय लोगों ने आरोप लगाते हुए कहा हैं कि हर पांच साल बाद सांसद और विधायक बनकर क्षेत्र के विकास की बाते करने वाले नेता चुनाव जीतने के बाद हमारे गांव की समस्याओं को दर किनार कर देते हैं। साथ ही उनका कहना था कि हमारे गांव की समस्याओं को लेकर स्थानीय प्रशासन का रवैया भी उपेक्षापूर्ण है। इसलिये गांववासियों ने गांव की समस्याओं की अतिशीघ्र समाधान की मांग की है।

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